आज हम आपको प्लासी के युद्ध के बारे में बताएंगे । यह युद्ध एक महत्वपूर्ण युद्ध है ,जिससे संबंधित प्रश्न कई बार परीक्षा में पूछे जाते है। इसलिए आजbBattle of plessy in hindi में आपको बताएंगे । जिससे आपकी परीक्षा में अच्छे अंक से सफल हो सकें।प्लासी युद्ध के होने कारण और परिणाम जानने को मिलेंगे इसलिए हमारे इस article ko पूरा पढ़ें।
प्लासी का युद्ध -1757
ब्रिटिशों ने सिराजुद्दौला के समक्ष बहुत-सी अनुचित माँग रखीं, जिन्हें मानने से सिराजुद्दौला ने इंकार कर दिया। इस पर 1757 ई॰ में क्लाइव प्लासी (पलासी) की ओर रवाना हुआ। नवाब ने भी अपनी सेना का नेतृत्व किया। यह युद्ध 23 जून को हुआ, लेकिन यह नाममात्र का युद्ध था क्योंकि नवाब की सेना का एक विशाल भाग मीर जाफ़र तथा राय दुर्लभ के हाथ में था, जिसकी युद्ध में कोई हिस्सेदारी नहीं थी। ब्रिटिशों ने मात्र उनतीस सैनिक खोए जबकि नवाब के पाँच सौ सैनिक मारे गए। नवाब भाग गया किंतु मुर्शिदाबाद में पकड़ा गया तथा मीर जाफ़र के पुत्र द्वारा उसकी हत्या कर दी गई। मीर जाफर बंगाल का नवाब बनाया गया।
सैन्य रूप से इस युद्ध का कोई महत्व नहीं था, किंतु इसने भारत का भाग्य बदल दिया। मीर जाफ़र ब्रिटिशों के हाथ की कठपुतली बनकर रह गया। उसे उन्हें व्यापार में भारी छूट तथा अन्य उपहार देने पड़े। इसके अलावा उसे ब्रिटिशों को नवाब पद पर बने रहने के लिए मुआवजा भी देना पड़ा। ब्रिटिशों ने बंगाल के संसाधनों का उपयोग अपने फ़ायदे के लिए किया, जिसने उनका आर्थिक व सैन्य बल काफ़ी हद तक सुदृढ़ कर दिया। इसने विशाल सेना के रख-रखाव में भी ब्रिटिशों की मदद की, जो आने वाले समय में ब्रिटिशों के लिए मददगार सिद्ध हुई।
युद्ध का तात्पर्य भारतीयों के लिए अनकहा आर्थिक कष्ट था तथा ब्रिटिशों द्वारा किए गए आर्थिक शोषण ने भारत को कंगाल देश के क्रम में खड़ा कर दिया था। प्लासी के युद्ध का कोई निर्णय नहीं हुआ था, अतः ब्रिटिश स्वयं को पूरी तरह स्थापित करने के लिए एक और युद्ध लड़ना चाहते थे।
यद्यपि मीर जाफ़र नवाब था फिर भी वास्तविक शक्तियाँ ब्रिटिशों के हाथ में थीं। उनके व्यापार में छूट तथा अन्य अधिकार बहुत ऊँचे थे, जिसे पूरा करना मीर जाफ़र के लिए असंभव था। कृषकों को अपने उत्पाद ब्रिटिशों को अत्यधिक कम दाम में बेचने पर मजबूर किया गया। खज़ाना खाली हो चुका था। मीर जाफ़र ने ब्रिटिश का विरोध करने की कोशिश की; अतः उसे हटाकर उसके स्थान पर मीर कासिम को गद्दी पर बैठा दिया गया।